मकराना(नागौर डेली न्यूज)। इमाम हुसैन की याद में एक रोजा जलसे का आयोजन शहर के इमाम चौक स्थित इमाम आली मकाम मस्जिद के हॉल में सुन्नी नौजवान कमेटी की ओर से आयोजित किया गया। इस दौरान झारखंड से आए मुख्य वक्ता मौलाना सैयद नूरुद्दीन असदक असदकी ने इमाम हुसैन के जीवन और उनकी शहादत पर बयान किया।
विज्ञापन
मौलाना ने कहा कि कर्बला का वाक्या हमें पैगाम देता है कि बातिल के आगे झुका नहीं जाता, बातिल को झुकाया जाता है। भूख और प्यास की परवाह किए बिना इस्लाम की खातिर इमाम हुसैन ने अपनी और अपने परिवार की कुर्बानी दी। इमाम हुसैन ने कर्बला की जंग के दौरान नमाज को नहीं छोड़ा हमें चाहिए कि हम सभी नमाजों की पाबंदी करें।
विज्ञापन
आका हुसैन की गुलामी से जुड़ते हुए अपनी जिंदगी गुजारे। इस दौरान विभिन्न मदरसे के बच्चों ने नात, मनकबत व तकरीर पेश की। इस दौरान विभिन्न मस्जिदों के इमाम स्टेज पर मौजूद थे। सलातो सलाम के बाद खुसूसी के साथ जलसा पूर्ण हुआ।
विज्ञापन